
बिहार ब्रेकिंगः बिहार और केन्द्र में बीजेपी की सहयोगी लोक जनशक्ति पार्टी का दर्द और गुस्सा दोनों आज बाहर आ गया। लोजपा के प्रदेश अध्यक्ष पशुपति कुमार पारस ने जब प्रेस काॅन्फ्रेंस में बोलना शुरू किया तो उनके शुरूआती बयानों से हीं लग गया कि तल्खी किस हद तक बढ़ चुकी है। दरअसल बीजेपी नीतीश कुमार को जितनी अहमियत दे रही है वो उनके सहयोगियों को नागवार है। पहले उपेन्द्र कुशवाहा छिटके और आज पशुपति कुमार पारस ने कहा कि बीजेपी ने जेडीयू के साथ मिलकर बराबर बराबर सीटों पर लड़ने का एलान कर दिया और लोजपा को पूछा तक नहीं। जाहिर है दर्द और गुस्सा दोनों है। इससे पहले चिराग पासवान का भी बयान सामने आया था जिसमें उन्होंने कहा था कि अगर समय रहते सीटों पर फैसला नहीं हुआ तो बीजेपी को नुकसान हो सकता है। पटना में लोजपा के प्रदेश अध्यक्ष पशुपति कुमार पारस ने प्रेस काॅन्फ्रेंस की और साफ संकेत दे दिये की सीटों की शेयरिंग पर एनडीए में बवाल बढ़ने के पूरे आसार है।

पारस ने कहा कि लोक जनशक्ति पार्टी 2014 में एनडीए का हिस्सा बनी, साढ़े चार सालों तक हम पूरी ईमानदारी के साथ एनडीए के साथ रहे। अब भी हैं, हम चाहते हैं कि 2019 में एनडीए की सरकार बने, पीएम मोदी प्रधानमंत्री बने लेकिन बीजेपी को हमें सम्मान देना होगा। बीजेपी और जेडीयू ने मिलकर आधी-आधी सीटें बांट ली और लोजपा को पूछा तक नहीं ऐसे में हम बीजेपी के पीछे क्यों घूमते रहेंगे। 2014 में लोजपा 7 सीटों पर लड़ी थी और सातों पर जीती थी। तो सात सीटों से कम पर लड़ने का सवाल हीं पैदा नहीं होता। पारस ने बिहार के पूर्व सीएम जीतन राम मांझी और रालोसपा अध्यक्ष उपेन्द्र कुशवाहा का नाम लेते हुए कहा कि ये लोग पहले से हीं एनडीए छोड़ चुके हैं ऐसे में बिहार में एनडीए कमजोर हुआ है। समय रहते सहयोगियेां के साथ बैठकर सीटों पर अंतिम सहमति नहीं बनायी गयी तो नुकसान होगा।