
डॉ सी बी सिंह द्वारा स्थापित एवं संचालित नॉलेजग्राम इंटरनेशनल स्कूल, भूतनाथ अंडरपास, नंदलाल छपरा में सत्र 2021-22 की प्रवेश प्रक्रिया आज से पटना वन मॉल स्थित कार्यालय (703, सप्तम तल) में प्रारम्भ हुई। नॉलेजग्राम अधुनातन सुविधाओं से युक्त, अंतरराष्ट्रीय मानकों पर निर्मित अंग्रेज़ी माध्यम, सहशिक्षा तथा सीबीएसई पाठ्यक्रम पर आधारित एक वातानुकूलित विद्यालय है। इसकी शिक्षा, पाठ्यक्रम तथा पाठ्यसहगामी क्रियाएं बाल-केंद्रित होंगी। विद्यालय का चरम उद्देश्य शिक्षा शिक्षार्थ, शिक्षा सेवार्थ और शिक्षा संस्कारार्थ होगी, न कि शिक्षा व्यावसायार्थ। शिक्षा भारतीय मूल्यों पर आधारित किन्तु पश्चिमी उन्नति को सम्मान देने वाली होगी और यहाँ दोनों मूल्यों एवं जीवन पद्धतियों का अद्भुत समन्वयन होगा। विद्यालय से संबंधित प्रत्येक शिक्षक-अभिभावक का जीवन-सूत्र होगा: *मनुर्भव जनया दैव्यं जनम्* (BE HUMANE : CREATE DIVINE) अर्थात मानव बनकर हमें देवत्व को जन्म देना है। विद्यार्थियों का चरित्र और संस्कार-निर्माण *ज्ञानाय दानाय च रक्षणाय* के जीवन-सूत्र से संचालित होगा, जिससे वे विद्या प्राप्त कर ज्ञानवान बनें, अज्ञान मिटाएं; धनार्जन कर वरेण्य कार्यों में लगाएं, परोपकारी बनें और शक्ति का प्रयोग अशक्तों की रक्षा में करें। इस प्रकार इस विद्यालय की शिक्षा केवल विद्यार्थी-काल में नहीं वरन जीवन-पर्यंत उपयोगी बनी रहेगी।

नॉलेजग्राम की एक प्रमुख विशेषता होगी, बच्चों की गुह्य प्रतिभा का वैज्ञानिक आकलन तथा तदनुसार ट्रेनिंग, जिससे आगे चलकर वे अपने क्षेत्र में महारत हासिल कर सकें। इसके लिए विद्यालय के पास अनेक प्रविधियां एवं प्रशिक्षित शिक्षक हैं जो DMIT जैसी तकनीकों और मनोवैज्ञानिक चार्टरों के द्वारा विद्यार्थियों की विशिष्ट योग्यता को परख लेंगे। MAP THE MIND:TAP THE PRIME योजना के तहत बच्चों की गुह्य प्रतिभा के बारे में अभिभावकों को अवगत कराया जाएगा और तदनुसार ट्रेनिंग दी जाएगी। नॉलेजग्राम केवल कुछ मेधावी विद्यार्थियों की तस्वीरों को चमकाकर गौरव प्राप्त करने के स्थान पर प्रत्येक विद्यार्थी को चरमोत्कर्ष तक ले जाएगा और उक्त योजना के साथ-साथ अनेक योजनाएं इसके लिए लागू की जाएंगी।
नॉलेजग्राम अपने बच्चों को राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय क्षितिज पर उभरने का पूरा अवसर प्रदान करेगा। शैक्षिक एवं सांस्कृतिक आदान-प्रदान की वृहद योजना बनाई गई है। अपनी मातृभाषा और अंग्रेज़ी के साथ अन्य विदेशी भाषाएं सिखाना भी इसका एक हिस्सा है। कई देशों से इस संबंध में वार्ता हुई है और विद्यालय के संस्थापक ने फ़िनलैंड, जर्मनी और स्विट्जरलैंड की यात्रा इसी उद्देश्य हेतु सम्पन्न की है।
प्रयोगात्मक शिक्षा नॉलेजग्राम की मूल पद्धति होगी। परंपरागत शिक्षा में 80% थ्योरी तथा 20% प्रैक्टिकल होता है, किंतु इस विद्यालय में यह प्रतिशत 50-50 होगा। नई शिक्षानीति में भी इस पर ज़ोर दिया गया है। ध्यान रहे इस विद्यालय से उन शिक्षकों और अभिभावकों को निराशा हाथ लगेगी जो टीचर द्वारा दिए गए नोट को कॉपी कर साफ सुथरी नोटबुक रखने का दम्भ भरते हैं। नॉलेजग्राम की शैली होगी कि बच्चे अपनी भाषा में उत्तर लिखें, चाहे वे ग़लत ही क्यों न हों। कक्षा 6 से प्रश्न-निर्माण की कला में भी बच्चे पारंगत होंगे।
विद्यालय की प्राचार्या राधिका के. (Radhika Kizhakkumkara) हैं, जिन्होंने शिक्षा के क्षेत्र में अपना अलग मुक़ाम हासिल किया है। रेडिएंट स्कूल तथा डी वाई पाटिल स्कूल की प्रगति इनके सक्षम नेतृत्व की परिणिति है। उनकी सक्षम टीम नॉलेजग्राम को शिक्षा के चरम शिखर पर ले जाएगी। विद्यालय ने पहले ही सुशिक्षित, सुविज्ञ और संस्कारवान टीचर्स का चयन सम्पन्न कर लिया है।
विद्यालय में प्रत्येक सुविधा अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप उपलब्ध है, यथा विविध प्रयोगशालाएं, प्रत्येक प्रवर्ग के लिए अलग अलग पुस्तकालय एवं कंप्यूटर कक्ष, म्यूजिक, आर्ट, क्राफ्ट, प्रदर्शनी के लिए अलग-अलग गैलरियां, इनडोर स्वीमिंग पूल, खेलकूद के मैदान और वातानुकूलित ट्रांसपोर्ट इत्यादि। बिहार की पहली ऑगमेंटेड रियलिटी लैब नॉलेजग्राम में स्थापित की जा रही है।
स्वास्थ्य को विद्यालय की शिक्षा के साथ समान वरीयता दी जाएगी। इस तरह के खानपान और रहन-सहन की ट्रेनिंग दी जाएगी, जिससे बच्चों में रोग प्रतिरोधक क्षमता का सम्यक विकास होगा। योगाभ्यास नॉलेजग्राम की शिक्षा का अनन्य हिस्सा होगा। बच्चों के स्वास्थ्य का पूरा रिकॉर्ड रखा जाएगा। बच्चों एवं अभिभावकों हेतु मेडिकल कैम्प का भी प्रावधान है।
विद्यार्थियों के व्यक्तित्व के विकास के लिए विद्यालय के पास अनेक कार्यक्रम हैं। इनमें ऑनलाइन शिक्षा पद्धति की भी सहायता ली जाएगी। होम विजिट प्रोग्राम नॉलेजग्राम का एक अनन्य हिस्सा होगा, जिससे हमें बच्चों की परिस्थितियों को ठीक से समझने और तदनुसार कार्यक्रम बनाने में सहूलियत होगी।
नॉलेजग्राम में विविध प्रकार की रियायतों और छात्रवृत्तियों का भी प्रावधान किया गया है। सेना, अर्धसैनिक बल एवं पुलिस के शहीदों के बच्चों की शिक्षा निःशुल्क होगी। पूर्णकालिक समाजसेवियों एवं पर्यावरण-रक्षकों, मीडिया कर्मियों, नियमित रक्तदाताओं, राष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ियों, सरकार से विशेष सम्मान प्राप्त व्यक्तियों के बच्चों के प्रवेश-शुल्क में 50% की छूट दी जाएगी। अनेक छात्रवृत्तियां भी प्रस्तावित हैं, जो मशहूर कलाकारों, वैज्ञानिकों, साहित्यकारों, शूरवीरों एवं समाजसुधारकों इत्यादि के नाम पर दी जाएंगी। प्रवेश परीक्षा में 80% से अधिक अंक प्राप्त करने वाले बच्चों को भी रियायती प्रवेश-शुल्क की श्रेणी में रखा जाएगा.
प्रवेश हेतु अभिभावक, डाक बंगला चौराहा के निकट पटना वन मॉल के सप्तम तल पर अवस्थित विद्यालय के कॉरपोरेट कार्यालय में प्राचार्या / निदेशक से मिल सकते हैं अथवा निम्नलिखित फ़ोन नम्बरों पर सम्पर्क कर सकते हैं:
9031012521, 9031012522
9060742555, 9060742666