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सरस्वती पूजा विसर्जन के दौरान हाजीपुर के दिग्घी में विगत ग्यारह फरवरी को डीजे बजाने को लेकर दो गुटों में हुए विवाद के बाद मारपीट और गोलीबारी में पीड़ित परिवारों से गुरुवार को राज्य अनुसूचित जाति आयोग के पूर्व अध्यक्ष विद्यानंद विकल मिलकर मामले में निष्पक्ष जांच करवा कर दोषियों को सजा दिलवाने का आश्वासन दिया। इस दौरान उन्होंने मामले की जांच कर रहे पुलिस अधिकारी को उन्होंने निर्देश दिया कि जल्द से जल्द सभी आरोपियों की गिरफ्तारी की जाए एवं उचित कार्रवाई सुनिश्चित की जाए। समय सीमा के अंदर अदालत में चार्जशीट दाखिल करें एवं मामले में एससी एसटी एक्ट की धारा भी लगाएं। साथ ही उन्होंने एएसपी हाजीपुर को उक्त स्थान पर स्थायी पुलिस पिकेट खोलने का सलाह दिया एवं डीडब्लूओ को भी निर्देश दिया कि गोलीबारी में मृतक के परिजनों को शुक्रवार तक मुआवजा राशि और घायलों के जख्म प्रतिवेदन के अनुसार क्षतिपूर्ति एवं इलाज के खर्च समेत अन्य सुविधाएं उपलब्ध करवाएं। विदित हो कि विगत ग्यारह फरवरी को सरस्वती मूर्ति विसर्जन के दौरान डीजे बजाने को लेकर दो गुटों में तनातनी हो गई जिसके बाद एक गुट के लोगों ने दूसरे गुट के मुहल्ले में जाकर पथराव एवं गोलीबारी किया। गोलीबारी में एक लड़की चांदनी कुमारी की मृत्यु घटनास्थल पर ही हो गई थी जबकि अन्य पांच घायल हो गए थे जिनका इलाज पीएमसीएच समेत अन्य अस्पताल में चल रहा है।
इस दौरान श्री विकल ने बताया कि राजद समर्थक यादव गुट ने थोड़ी सी बात पर पासवान समाज के लोगों पर उनके मुहल्ले में घुस कर मारपीट एवं गोलीबारी की। उन्होंने आगे बताया कि यह घटना सुनियोजित प्रतीत होता है क्योंकि एक बच्ची की मौत घटनास्थल पर ही हो गई जबकि पांच घायलों में से एक को छोड़ कर बाकी सबको गोली कमर से ऊपर मारी गई है, जिससे कि मौत आसानी से हो सके। यह गोलीबारी की घटना को लाइसेंसी और गैरलाइसेंसी हथियारों से अंजाम दिया गया है। उन्होंने आगे बताया कि पुलिस ने अब तक 33 अभियुक्तों में से ग्यारह को गिरफ्तार किया है जबकि बाकी अन्य लोग फरार चल रहे हैं। उन्होंने पीड़ित परिवारों से मुलाकात के दौरान कहा कि इस लड़ाई को हल्के तरीके से नहीं लड़ी जा सकती है और न ही पुलिस के बल पर। बल्कि हमें एकताबद्ध होकर सतर्क और हर परिस्थिति का जवाब देने के लिए तैयार रहना पड़ेगा।