
मुंबई: वर्ष 2008 में हुए मालेगांव ब्लास्ट मामले में NIA कोर्ट ने 17 वर्ष बाद सभी आरोपियों को बरी कर दिया। NIA कोर्ट के आदेश के बाद एक तरफ खुशी का माहौल है तो दूसरी तरफ कुछ लोग इसे साजिश बता रहे हैं। जानकारी के अनुसार सभी चश्मदीद गवाह अपने बयान से मुकर गए और साक्ष्य के अभाव में सभी आरोपियों को बरी कर दिया गया। बता दें कि इस मामले में भाजपा की पूर्व सांसद प्रज्ञा ठाकुर, लेफ्टिनेंट कर्नल प्रसाद पुरोहित, मेजर (सेवानिवृत्त) रमेश उपाध्याय, अजय राहिरकर, सुधाकर द्विवेदी, सुधाकर चतुर्वेदी और समीर कुलकर्णी आरोपी थे जिन्हें कोर्ट ने अब मुक्त कर दिया है।

वर्ष 2008 में हुए मालेगांव ब्लास्ट में 6 लोगों की मौत हो गई थी जबकि 100 से अधिक घायल हो गए थे। बता दें कि मालेगांव ब्लास्ट में शुरुआती जांच महाराष्ट्र एटीएस ने की बाद में फिर NIA ने जांच की। वर्ष 2008 में विस्फोटकों से भरा एक वाहन एक मस्जिद के समीप फट गया था जिसमें 6 लोगों की मौत हो गई थी जबकि 100 से अधिक घायल हो गए थे। इस मामले में एटीएस ने भाजपा की पूर्व सांसद साध्वी प्रज्ञा ठाकुर समेत 7 लोगों पर आरोप लगाया था।